मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में कोल्ड्रिफ कफ सिरप से हुई 25 मासूमों की मौत के मामले में एसआईटी ने बड़ी कार्रवाई की है. एसआईटी की टीम ने श्रीसन फार्मास्युटिकल कंपनी की 61 वर्षीय केमिकल एनालिस्ट के. महेश्वरी को कांचीपुरम चेन्नई से गिरफ्तार किया है. छिंदवाड़ा पुलिस अब तक कंपनी के मालिक जी रंगनाथन सहित बच्चों (cough syrup scandal) को दवा लिखने वाले डॉक्टर प्रवीण सोनी सहित कई जिम्मेदार लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है.

जबलपुर जॉन के आईजी प्रमोद वर्मा का कहना है कि एसआईटी रंगनाथन को लेकर तमिलनाडु के कांचीपुरम और चेन्नई स्थित फैक्ट्री पहुंची थी. जहां उत्पादन से जुड़ी कई अहम जानकारियां जुटाई गईं. अब छिंदवाड़ा लौटने के बाद एसआईटी उससे सिरप के निर्माण वितरण और गुणवत्ता नियंत्रण प्रक्रिया पर विस्तृत पूछताछ करेगी.

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पुलिस की माने तो केमिकल एनालिस्ट के. महेश्वरी की भूमिका इस पूरे मामले में सबसे संदिग्ध है. फैक्ट्री में इस्तेमाल होने वाले सभी केमिकल और गुणवत्ता की देखरेख की जिम्मेदारी माहेश्वरी के हाथों में थी. किस बैच में कितना केमिकल मिलाया जाना है, यह सभी के. माहेश्वरी के देखरेख में ही तय होता था.

cough syrup scandal – इस बीच तमिलनाडु सरकार ने भी सख्त रुख अपनाते हुए श्रीसन फार्मास्युटिकल कंपनी का लाइसेंस को भी रद्द कर दिया है. वही जबलपुर के ड्रग और ओषधि विभाग ने कटारिया फार्मास्युटिकल का भी लाइसेंस निरस्त करते हुए गोडाउन और दुकान को सील कर दिया है.

 

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