नई दिल्ली : उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने विदेशों में भारत का अपमान (Curb Those Who Insult India) करने वालों लोगों की कड़ी निन्दा करते हुए कहा है कि इस प्रवृत्ति पर अंकुश लगाया जाना चाहिए। श्री धनखड़ ने शुक्रवार को यहां स्वामी दयानंद की 200 वीं जयंती के उपलक्ष में आयोजित एक समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि जब लोग विदेशों में जाकर भारत की तस्वीर धूमिल करने का प्रयास करते हैं तो बेहद तकलीफ होती है। उन्होंने कहा कि कुछ दर्द होता है.. कुछ पीड़ा होती है जब अपनों में से कुछ लोग विदेशी भूमि पर जाकर उभरते हुए भारत की तस्वीर को धूमिल करने का प्रयास करते हैं। इस पर अंकुश लगना चाहिए।

इसे भी पढ़ें – विपक्षी दल संसद भवन से विजय चौक तक आज निकालेंगे ‘तिरंगा मार्च’

उन्होंने कहा कि यह स्वामी जी की स्वराज्य की सोच के विपरीत आचरण है। स्वामी जी की सोच उस समय थी जब विदेशी ताकतें हम पर हावी थीं। उप राष्ट्रपति ने कहा कि समझ में नहीं आता सच्चे मन से भारत और भारतीयता में विश्वास करने
वाला व्यक्ति भारत के सुधार की सोचेगा एवं सुधार में सहयोग करने की सोचेगा। ये हो सकता है कि कमियां हों। उन कमियों को दूर करने की सोचेगा पर विदेश में जाकर नुक्ताचीनी करना और संस्थाओं के ऊपर घोर टिप्पणी करना हर मापदंड पर अमर्यादित है।

इसे भी पढ़ें – मोदी की अगुवाई में भाजपा अपने उत्कर्ष पर पहुंची, विकसित भारत के लिए पूरी ताकत झोंक देंगे : नड्डा

Curb Those Who Insult India – श्री धनखड़ ने कहा कि सितंबर 2022 में भारत विश्व की पांचवीं आर्थिक महाशक्ति बना। इस उपलब्धि का अंदाजा लगाइए कि जिन लोगों ने हम पर शताब्दियों तक राज किया उनको पछाड़कर पांचवी पायदान पर आए। दुनिया के अर्थशास्त्री मानते हैं कि दशक के अंत तक हम विश्व की तीसरी महाशक्ति होंगे। समारोह में राज्यमंत्री देवसिंह सिंह चौहान, पतंजलि योगपीठ हरिद्वार के स्वामी रामदेव, सांसद सत्यपाल सिंह, सांसद स्वामी सुमेधानंद, परमार्थ निकेतन, ऋषिकेश के स्वामी चिदानंद सरस्वती और श्री धनखड़ की धर्मपत्नी डॉ सुदेश धनखड़ भी मौजूद रहीं।

Share.
Exit mobile version