राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के सर संघचालक मोहन भागवत का मंगलवार को गोरक्षपीठ में भव्य स्वागत किया गया। संघ प्रमुख ने नाथ संप्रदाय की इस सिद्धपीठ के गोरखनाथ मंदिर में वैदिक मंत्रोच्चार के साथ दर्शन-पूजन किया। उन्होंने मंदिर परिसर में स्थापित सभी देव विग्रहों का भी दर्शन किया। मंदिर परिसर स्थित समाधि स्थल पर ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ और ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ की समाधि पर भी पूजन कर आशीर्वाद लिया। चार दिवसीय दौरे पर गोरखपुर आए संघ प्रमुख (RSS) आज वाराणसी के लिए रवाना होंगे। वह 27 मार्च तक वहां प्रवास करेंगे।
इसे भी पढ़ें – उत्तरप्रदेश पुलिस का बड़ा कारनामा, दो लाख का इनामी बदमाश इनकाउंटर में ढेर
इस दौरान संघ प्रमुख काशी क्षेत्र के संगठन और जागरण श्रेणी से जुड़े स्वयंसेवकों के साथ संवाद करेंगे। 17 मार्च से 22 मार्च तक चार दिवसीय गोरखपुर प्रवास पर आए आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, अपने प्रवास के अंतिम दिन गोरक्षपीठ पहुंचे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 17 मार्च को हुई मुलाकात में उन्हें पीठ आने का निमंत्रण दिया था। गोरखनाथ मंदिर में मंदिर के सचिव द्वारिका तिवारी, विरेंद्र सिंह, डॉ प्रदीप राव ने उनका स्वागत किया। कतारबद्ध वेदपाठी बालकों ने वैदिक मंगलाचार से उनका मंदिर परिसर में अभिनंदन किया। उसके बाद उन्होंने वैदिक मंत्रों के बीच गुरु गोरखनाथ का दर्शन कर पूजन किया। अखण्ड ज्योति का भी दर्शन किया। उसके बाद बारी बारी मंदिर परिसर में स्थापित सभी देव विग्रहों का दर्शन कर पूजन किया। इसके बाद समाधि स्थल पर पहुंचे और ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ और ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ की समाधि पर उनका पूजन कर आशीर्वाद लिया।
इसे भी पढ़ें – भाजपा के मंच पर कोने में दिखे धनंजय सिंह,वैनर से फोटो गायब
RSS – संघ प्रमुख का गोरक्षपीठाधीश्वर कक्ष में अभिनंदन किया गया। यहां मंदिर के प्रधान पुजारी योगी कमनाथ ने जलपान के बाद उन्हें नाथ संप्रदाय के साहित्य, गोरक्षनाथ मंदिर का प्रसाद और अंगवस्त्र प्रदान कर अभिनंदन किया। पीठाधीश्वर कक्ष में बैठक कर मंदिर में चल रहे लोक कल्याण के कार्यो पर चर्चा भी की।
अपने गोरखपुर प्रवास के अंतिम दिन संघ प्रमुख मोहन भागवत मंगलवार अपराह्न 5 बजे योगीराज बाबा गंभीरनाथ प्रेक्षागृह एवं सांस्कृति केंद्र में स्नेह मिलन समारोह को संबोधित करेंगे।तकरीबन एक हजार की क्षमता वाले सभागार में स्वयंसेवकों और उनके परिजनों का समागम होगा। सभी का भोजन भी वहीं होगा। आरएसएस प्रमुख स्वयंसेवकों के साथ ही परिजनों से सीधा संवाद करेंगे।