भोपाल : मध्यप्रदेश में लोकतंत्र के सबसे बड़े पर्व विधानसभा चुनाव में सभी 230 सीटों पर एकसाथ मतदान के दौरान मतदाताओं ने न केवल बढ़चढ़कर हिस्सा लिया, बल्कि राज्य में 76 फीसदी से ज्यादा मतदान के साथ एक रिकॉर्ड बन गया। कल हुए मतदान में लगभग (Record Voting) पांच करोड़ 60 लाख से अधिक मतदाताओं में से 76.22 प्रतिशत ने वोट डाले। अपवाद स्वरूप कुछेक घटनाओं को छोड़कर मतदान शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गया और दो हजार 533 उम्मीदवारों की किस्मत इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) में कैद हो गयी।
इसे भी पढ़ें – प्रियंका गांधी चुनाव के दौरान मनोरंजन के लिए मध्य प्रदेश आती हैं : चौहान
राज्य विधानसभा चुनाव के इतिहास में इस बार सबसे अधिक मतदान दर्ज किया गया है। वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में 75.63 प्रतिशत और वर्ष 2013 के चुनाव में 72.69 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया था। इससे अधिक मतदान राज्य विधानसभा चुनाव में कभी नहीं हुआ।सख्त सुरक्षा प्रबंधों के बीच मतदान सुबह सात बजे 64,626 मतदान केंद्रों पर प्रारंभ हुआ, जो शाम छह बजे तक चला। हालाकि बालाघाट, मंडला और डिंडोरी जिले के नक्सली प्रभावित क्षेत्रों के मतदान केंद्रों पर मतदान दिन में तीन बजे समाप्त हो गया। मतों की गिनती का कार्य तीन दिसंबर को होगा।
इसे भी पढ़ें – भाजपा ने धनबल का इस्तेमाल कर मप्र में कांग्रेस सरकार गिराई थी : राहुल गांधी
Record Voting – नक्सली प्रभावित इलाकों समेत राज्य के शेष जिलों में मतदान निर्विघ्न रूप से संपन्न हुआ। मतदान की गति शुरूआती दो घंटों में अपेक्षाकृत कम नजर आयी, लेकिन बाद में घंटों में इसने गति पकड़ ली। हालाकि भोपाल 66 प्रतिशत, इंदौर 70, ग्वालियर 67 प्रतिशत और जबलपुर 74 प्रतिशत जैसे बड़े शहरों के जिलों में अपेक्षाकृत कम मतदान दर्ज हुआ है। वहीं मालवा और निमाड़ के कुछ जिलों में मतदान 80 प्रतिशत के आकड़ों तक पहुंचा है। कुल मतदान केंद्रों में से “क्रिटिकल” मतदान केंद्रों की संख्या 17 हजार 32 रही।