Pune Porsche Accident : पुणे पाेर्श कांड में एक बड़े खुलासे के बाद नया मोड आ गया है। महाराष्ट्र परिवहन विभाग के शीर्ष अधिकारियों ने बताया कि इस करोड़ों की लग्जरी कार का परमानेंट रजिस्ट्रेशन मार्च से पेंडिग चल रहा था। कार मालिक ने रजिस्ट्रेशन के 1758 रुपये नहीं दिए थे।

बता दें कि 19 मई की सुबह पुणे के कल्याणी नगर इलाके में कथित तौर पर एक 17 साल लड़के ने अपनी पोर्श से बाइक सवार दो इंजीनियरों को रौंद दिया था, जिससे दोनों की मौत हो गई। पुलिस की माने तो दुर्घटना के समय नाबालिग नशे में था।

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अस्थायी पंजीकरण था सितंबर तक वैलिड

महाराष्ट्र परिवहन आयुक्त विवेक भीमनवार के अनुसार ‘इलेक्ट्रिक लग्जरी स्पोर्ट्स सेडान- पोर्श टेक्कैन’ को मार्च में बेंगलुरु के एक डीलर द्वारा इंपोर्ट किया गया था और वहां से इसे अस्थायी पंजीकरण पर महाराष्ट्र भेजा गया था। यह अस्थायी पंजीकरण मार्च से सितंबर 2024 तक छह महीने तक वैलिड था। लेकिन मालिक की जिम्मेदारी थी कि वह इसे सड़कों पर चलाने से पहले आरटीओ में रजिस्टर्ड करवाए। अस्थायी पंजीकरण अवधि के दौरान, वाहनों का उपयोग केवल आरटीओ तक आने-जाने के लिए किया जा सकता है।

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करोड़ों की कार, नहीं दिए 1758 रुपये

दिलचस्प बात यह है कि करोड़ों की कार खरीदने वाला बिल्डर महज 1, 758 रुपये नहीं चुका पाया। महाराष्ट्र में वैसे भी रजिस्टर्ड इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए रोड टैक्स में छूट दी गई है। इसलिए इस पोर्श टेकन मॉडल के पंजीकरण के लिए,शुल्क केवल 1,758 रुपये था, जिसमें 1,500 रुपये हाइपोथेकेशन शुल्क, 200 रुपये स्मार्ट कार्ड आरसी शुल्क और 58 रुपये डाक शुल्क शामिल थे।

वहीं, मोटर वाहन अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार इसका मौजूदा अस्थायी पंजीकरण रद्द कर दिया जाएगा। साथ ही धारा 199A की उप-धाराओं के तहत परिवहन अधिकारी यह कार्रवाई कर सकते हैं।

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